क्या मन्नत के रोजे लगातार रखना जरूरी है

यदि किसी ने मन्नत मानी कि मेरा फुलां काम हो गया तो मैं 10 रोजे रखूंगा तो अगर उसने मन्नत मांनते वक्त लगातार रोजा रखने की नियत की थी तो उसे 10रोजे लगातार रखने होंगे और यदि उसने नियत नहीं की थी तो अलग-अलग भी रोजे रख कर के नजर पूरी की जा सकती है. (वल्लाहु आलम) मुस्तफाद: फतावा बिननोरिया फतावा हिंदीया पाठ 1 पेज नंबर 209 हिदायतुल्लाह खादिम मदरसा रशीदिया ड़ंगरा गया बिहार HIDAYATULLAH TEACHER.MADARSA RASHIDIA.DANGRA.GAYA.BIHAR.INDIA नोट. अधिक जानकारी हेतु संपर्क भी कर सकते हैं। CONTAT.NO +916206649711 ????????????????????????????????????????????????

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